विशेष रिपोर्ट:- रमज़ान के मुबारक महीने में अल्लाह ने मुसलमानों पर रोज़ा रखना फ़र्ज़ क़रार दिया है रोज़ा इस्लाम के पांच अहम रुक्नों में से एक है इस महीने में दुनिया भर के मुसलमान तीस रोज़ा रखते हैं मुसलमान रमज़ान के महीने में सुबह सूरज निकलने से पहले सहरी करते हैं और फ़िर पूरा दिन भूखे पियासे रहते हैं फ़िर शाम में सूरज डूबने के बाद इफ़्तार करते हैं लेकिन बहुत कम ही लोग ऐसे होंगे जो ये जानते होंगे कि मुसलमान इफ़्तार के समय खजूर से ही क्यों रोज़ा खोलते हैं तो आपको बता दें कि खजूर से रोज़ा खोलने के पीछे मज़हबी कारण के साथ साथ वैज्ञानिक कारण भी है।
धार्मिक दृष्टि से देखें तो खजूर से रोज़ा खोलना इस्लाम में सुन्नत है और मुहम्मद स अ व खजूर को पसंद करते थे और इससे रोज़ा इफ़्तार किया करते थे इसीलिये आज भी मुसलमान खजूर खाकर अपना रोज़ा मुकम्मल करते हैं सुन्नत पर अमल करने के लिये। खजूर से इफ़्तार करने पर तिब्बी भी फायदे हैं डॉक्टरों का कहना है कि ख़जूर खाने से जिस्म को फ़ौरन ताक़त मिलती है क्योंकि दिन भर रोज़ा रहने से एनर्जी लेवल कम हो जाता है इसलिये खजूर खाया जाता है इसके अलावा खजूर पाचन के लिये भी अच्छी होती है।